राज्य के सूचना एवं प्रावैधिकी मंत्री कृष्ण कुमार मंटू ने सोमवार को बिस्कोमान भवन में राज्य की 10 नई स्टार्ट अप कंपनियों को नि:शुल्क आफिस स्पेस उपलब्ध कराया।ये स्पेस बिस्कोमान टावर की नौवीं और 13वीं मंजिल पर स्थित है। उन्होंने आइटी सेक्टर के उद्यमियों को दफ्तर की चाबी भी सौंपी। इस मौके पर उन्होंने कहा कि बिहार आइटी नीति-2024 के तहत पहले से ही निवेशकों को पूंजीगत निवेश और रोजगार सृजन के अवसर दिए जा रहे हैं।
इस नीति के तहत निवेशकों को पूंजी निवेश सब्सिडी, ब्याज अनुदान सब्सिडी, लीज रेंटल सब्सिडी, विद्युत बिल सब्सिडी, रोजगार सृजन सब्सिडी जैसे कई लाभ दिए जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि युवाओं को रोजगार उपलब्ध कराना उनकी सरकार की प्राथमिकता है। इसके लिए हमें स्टार्ट अप को बढ़ावा देना होगा।
आने वाले समय में बिस्कोमान टावर अत्याधुनिक आइटी पार्क का सेंटर बनेगा, जहां विभिन्न स्टार्टअप कंपनियों का दफ्तर बनेगा।
कार्यक्रम में विभाग के सचिव अभय कुमार सिंह और विशेष सचिव अरविन्द कुमार चौधरी समेत कई लोग उपस्थित थे।इस मौके पर उन्होंने हाईप्रोटेक इंडिया टेक्नोलाजी प्राइवेट लिमिटेड, ग्रीन स्टार्क इलेक्ट्रॉनिक्स प्रा. लिमिटेड, फ़्लो एपीआइज प्राइवेट लिमिटेड, सेवासिटी टेक्नोटाजी प्राइवेट लिमिटेड, स्कास टेक्नोलाजिज प्राइवेट लिमिटेड, आस्टोमवर्स इनोवेशन प्राइवेट लिमिटेड, मोमेंटम प्लस आॅनलाइन टेक्नोलाजी, पालीट्रॉपिक सिस्टम प्राइवेट लिमिटेड, मकासा इंडस्ट्रीज प्राइवेट लिमिटेड और एचपीएफ वेंचर इंडिया प्राइवेट लिमिटेड के अधिकारी मौजूद थे।
जिन्हें दफ्तर की चाबियां सौंपी गईं।
राज्य में उद्यमिता एवं नवाचार को बढ़ावा देने के लिए सूचना एवं प्रावैधिकी विभाग ने वर्ष 2024 में नई आईटी नीति लाई थी, जिसका असर अब पूरे बिहार में दिखने लगा है।
सरकार की नई आइटी नीति से न सिर्फ राज्य में चार हजार करोड़ रुपये के नए निवेश के प्रस्ताव मिले हैं बल्कि सरकार की इस पहल से राज्य के हजारों युवाओं को रोजगार से जोड़ने की मुहिम को एक नई रफ्तार भी मिली है।
विभाग के सचिव अभय कुमार सिंह ने बताया कि नई आइटी नीति के तहत सरकार स्टार्टअप कंपनियों को छह महीने के लिए निशुल्क आफिस स्पेस उपलब्ध कराती है।
इसके बाद इन कंपनियों के कार्यों की समीक्षा करके आवंटन अवधि को अगले छह महीने के लिए बढ़ाया जा सकता है।